फर्रुखाबाद, समृद्धि न्यूज। स्ववित्तपोषित महाविद्यालय शिक्षक महासंघ ने राज्यपाल सम्बोधित ज्ञापन जिलाधिकारी को सौंपा। ज्ञापन में मांग की गई कि विश्व विद्यालय कानपुर क्षेत्र में स्ववित्तपोषित महाविद्यालयों में स्नातक एवं परास्नातक पर अनुमोदित प्रवक्ताओं का निर्धारित वेतन मान उनके बैंक खाते में विश्वविद्यालय द्वारा दिलाया जाना सुनिश्चित किया जाये। विश्वविद्यालय के अनुमोदित शिक्षकों का शोषण रोका जाये।
जिससे गुणनात्मक सुधार हो। विश्वविद्यालय के द्वारा परीक्षा का मूल्यांकन डिजिटल किया गया है। जिस कारण सात-आठ घंटे लैपटॉप व कम्प्यूटर पर बैठकर काम करने से अधिक उम्र के शिक्षकों की आंखों पर दुष्प्रभाव पड़ता है। विश्वविद्यालय द्वारा टीए तथा डीए नहीं दिया गया और न ही मूल्यांकन का पारिश्रमिक बढ़ाया गया। डिजिटल मूल्यांकन केंद्रों पर परीक्षकों को सम्मानजनक बैठने की व्यवस्था की जा सकी। मूल्यांकन पारिश्रमिक दर स्नातक स्तर पर 40 रुपये तथा परास्नातक स्तर पर 50 रुपये की वृद्धि की जाये। महाविद्यालय के शिक्षकों की ऑनलाइन उपस्थिति, डिजिटल फोटो व थम्ब इम्प्रेशन तथा कक्षाओं में छात्रों की उपस्थिति में विधिवत कक्षा संचालन की फोटो ऑनलाइन मांगी जाये। स्ववित्तपोषित महाविद्यालय के शिक्षकों को लाभ व अधिकार दिये जाये। विश्वविद्यालय के अन्तर्गत आने वाले सभी सेल्स फाइनेंस कालेजों के प्राचार्य पद हेतु स्नातक स्तर पर १५ वर्ष तथा परास्नातक स्तर पर १० वर्ष का अनुभव मान्य किया जाये, आदि ११ सूत्रीय ज्ञापन सौंपा। इस मौके पर डा0 मोहम्मद इसरार, डा0 प्रभाव अवस्थी, वीरेन्द्र अग्निहोत्री, मुकेश आदि स्ववित्तपोषित शिक्षक मौजूद रहे।