मनरेगा की मलाई खा रहे भ्रष्ट प्रधान, कागजों में हो रहा कार्य

ब्लाक अधिकारियों की शह पर फर्जी तरीके से दिखाये जा रहे 40 मजदूर
शमशाबाद, समृद्धि न्यूज।
ब्लाक अधिकारियों की शह पर पिछले 10 दिनों से कागजों में दौड़ लगा रहे चालीस मनरेगा मजदूर। ग्रामीणों ने जारी भ्रष्टाचार पर नाराजगी जताते हुए प्रशासनिक अधिकारियों से जांच और कार्रवाई की मांग की। जानकारी के अनुसार विकास खंड शमसाबाद क्षेत्र के ग्राम पपड़ी खुर्द बुजुर्ग में देखने को मिल रहा है। यहां मनरेगा के तहत एक तालाब की खुदाई तथा साफ -सफाई का कार्य पिछले 10 दिनों से 40 मजदूरों को लगाकर कराया जा रहा जो हकीकत को दरकिनार कर कागजों तक सीमित है। इस बात का खुलासा तब हुआ जब मौके पर पहुंचकर देखा गया, तो यहां तालाब के अंदर कुछ सुअर लोट रहे थे, तो कुछ महिलाएं उपले बना रही थीं।

जब महिलाओं से जानकारी की गई तो एक महिला ने दबी जुबान से बताया दो महीने पूर्व दिसंबर में कार्य हुआ था। तब से आज तक कोई कार्य नहीं हुआ, जबकि हकीकत को देखा जाए तो सरकारी आंकड़ों में अर्थात कागजों में 10 दिनों से 40 मजदूर यानी चार मस्टरोल के सहारे कार्य जारी है जो लाखों के भ्रष्टाचार का परिचायक है। ग्रामीणों ने यह भी बताया विकास कार्यों के नाम पर या फिर यं कहें लगभग अधिकांश कार्य सिर्फ कागजों तक ही सीमित है। गांव का तालाब जहां ग्राम प्रधान द्वारा मिट्टी तालाब की खुदाई साफ -सफाई का कार्य भी 40 मजदूरों के सहारे पिछले 10 दिनों से कागजों में होना दर्शाया जा रहा है। ग्रामीणों के अनुसार जमीनी हकीकत इससे कोसों दूर है। ग्रामीणों का कहना था अगर प्रशासन द्वारा गहनता से जांच कराई जाए तो सारी सच्चाई सामने आ सकती है। देखना है जिला प्रशासन तालाब की सफाई खुदाई के नाम पर जारी भ्रष्टाचार के प्रति क्या कार्रवाई करता, यह तो आने वाला वक्त ही बताएगा। समाचार प्रतिनिधि द्वारा ग्राम प्रधान से संपर्क करने की कोशिश की गई मगर संपर्क नहीं हो सका था।

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