फर्रुखाबाद, समृद्धि न्यूज। गंगा नगर में चल रहे १९वें धार्मिक अनुष्ठान में श्रीमद् भागवत एवं मानस यज्ञ सप्ताह के अन्तर्गत वक्ता पं0 दाताराम अग्निहोत्री ने श्रीकृष्ण की बाल लीलाओं का वर्णन किया। उन्होंने कहा कि कृष्ण जी अपने मित्रों के साथ मिलकर गांव वालों का माखन चुरा कर खा जाते थे, जिसके बाद गांव वाले उनकी शिकायत मैया यशोदा के पास लेकर पहुंच जाते थे, इस वजह से उन्हें अपनी मैया से डांट भी खानी पड़ती थी। भगवान श्री कृष्ण का जहां राधा जी के साथ एक खास रिश्ता था। वहीं गांव की गोपियों से भी उनकी खूब बनती थी। कृष्ण की बंसी की धुनें राधा को खूब भाती थी। किसी भी तीज-त्योहर पर खूब नाचते-गाते दिखाई देते थे। गांव की गोपियां भी श्री कृष्ण की बांसुरी की खूब दीवानी थी। श्री कृष्ण का आकर्षित चेहरा एकदम से गोपियों को अपनी ओर आकर्षित करता था। जो कि पूरे गांव में खूब प्रचलित थी। एक बार श्री कृष्ण अपने मित्रों के साथ यमुना नदी के किनारे गेंद से खेल रहे थे,अचानक गेंद युमना नदी में चली गई और बाल गोपल के सारे मित्रों ने मिलकर उन्हें ही नदी से गेंद लाने को भेज दिया। बाल गोपाल भी एकदम से कदम्ब के पेड़ पर चढ़ कर यमुना में कूद गए। वहां उन्हें कालिया नाग मिला। श्रीकृष्ण ने जहरीले कालिया नाग का वध कर दिया। मानस वक्ता डा0 रामबाबू पाठक ने लंका काण्ड की कथा सुनाई। संचालन महेशपाल सिंह उपकार ने किया। इस मौके पर बृजेश दुबे, अवधेश पाण्डेय, रामबाबू मिश्रा, सर्वेश अवस्थी, मनोज अग्निहोत्री, शिवकुमार मिश्रा, विभोर सोमवंशी, अवधेश अवस्थी, अमित बाजपेयी, दिलीप अग्निहोत्री आदि मौजूद रहे।