निषाद पार्टी की संवैधानिक अधिकार यात्रा की शुरुआत

पूर्ववर्ती सरकारों के छल से छीना गया मछुआ समाज का अधिकार।
( अमिताभ श्रीवास्तव )
समृद्धि न्यूज़ लखनऊ। शनिवार को निर्बल इंडियन शोषित हमारा आम दल “निषाद पार्टी” द्वारा माँ शाकुंभरी देवी शक्तिपीठ, जनपद सहारनपुर से संवैधानिक अधिकार यात्रा की शुरुआत की गई है।निषाद पार्टी राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं प्रदेश सरकार में कैबिनेट मंत्री डॉ संजय कुमार निषाद के नेतृत्व में यात्रा का शुभारंभ किया गया।यात्रा प्रारंभ करने से पूर्व निषाद ने भूरादेव जी महाराज और माँ शाकुम्भरी देवी शक्तिपीठ के दर्शन कर देश व प्रदेश की प्रगति व कुशलक्षेम की प्रार्थना और व मंदिर में पूजा अर्चना कर आशीर्वाद लिया। निषाद ने यात्रा का शुभारंभ करते हुए कहा की निषाद पार्टी की स्थापना देश व प्रदेश के मछुआ समाज को विकास की मुख्यधारा से जोड़ने के लिए की गई थी। निषाद पार्टी प्रदेश सरकार में सहयोगी पार्टी और जबसे वह मंत्री बने हैं,प्रदेश के मछुआ समाज के हित में लगातार कार्य किए जा रहे हैं,मत्स्य विभाग की सभी जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ मछुआ समाज को प्रथमकिता से दिया जा रहा है।उन्होंने कहा कि संवैधानिक अधिकार यात्रा प्रदेश के सभी 18 मण्डल,200 विधानसभा में जाएगी, तीन चरणों में यात्रा अपने अंतिम पड़ाव नई दिल्ली के इंदिरा गांधी इंदौर स्टेडियम में समापन किया जाएगा।उन्होंने बताया कि प्रदेश में मछुआ समाज की सभी उपजातियों को एकजुट करने के लिए यात्रा निकाली जा रही है, क्योंकि उत्तर प्रदेश सेंसर मैनुएल 1961 के तहत प्रदेश में मझवार व तुरैहा को अनुसूचितजाति का अधिकार मिलना चाहिए।  निषाद ने भारत के संविधान में सूचीबद्ध मझवार और तुरैहा नाम से अंकित अनुसूचितजाति का लाभ निषाद समेत अन्य 17 उपजातियों को नहीं मिल पाने के मुद्दे को अपनी प्राथमिकता मानते हुए,समाज को एकजुट करना शुरू किया और तत्कालीन समाजवादी पार्टी की सरकार ने समक्ष पूर्ववर्ती केंद्र व राज्य सरकार द्वारा मछुआ समाज के साथ हुए अन्याय और पक्षपात पूर्ण रवैये को रखने का काम किया,किस तरह सन 1990 में तत्कालीन केंद्र सरकार ने संसद में बिना किसी बहस कराये संविधान में सूचीबद्ध मझवार और तुरैहा को बाहर किया गया है। निषाद ने बताया यात्रा के माध्यम से प्रदेश के कश्यप, निषाद,केवट,बिंद,मल्लाह, कहार,धीवर,बाथम समेत अन्य 17 उपजातियों का अनुसूचितजाति का लाभ नहीं मिल जाने तक समाज को एकजुटता दिखानी होगी।श्री निषाद ने रथ यात्रा निकालने की संकल्पना को लेकर बताया कि प्रदेश के निषाद,कश्यप समेत अन्य 17 पिछड़ी जातियों के उत्थान के लिया बनाई थी, क्योंकि पूर्ववर्ती सरकारों द्वारा प्रदेश की निषाद,केवट,मल्लाह, बिंद,कश्यप समेत अन्य जातियों के साथ भेदभाव किया गया था, प्रदेश में निषाद समाज की दिशा दशा अनुसूचित जातियों से भी बदतर थी और पूर्ववर्ती सरकारों ने अपने समाज की जातियों को खुश करने के लिए निषाद समाज को फुटबॉल समझकर मछुआ समय को अनुसूचितजाति में होने का बाद भी कभी अनुसूचित जाति को मिलने वाले से वंचित रखा गया है और ऐसे में निषाद पार्टी के गठन से बाद से उत्तर प्रदेश की बहुसंख्यक आबादी को निषाद पार्टी के बैनर तले लामबंद करके,केंद्र व प्रदेश सरकार द्वारा चलाई जा रही योजना का लाभ मछुआ समय को दिलवाने के लिए किया रहा है।इस रथ यात्रा के माध्यम से कश्यप निषाद मछुआ बाहुल्य ग्राम समाज को जोड़ने का काम किया जायेगा,साथ ही मत्स्य विभाग द्वारा चलाई जा रही विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं के माध्यम से लाभ भी दिया जाएगा।

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