हाथरस: रेप पीड़िता के परिवार से मिले राहुल गांधी

कांग्रेस नेता राहुल गांधी हाथरस रेप पीड़िता के परिवार से मिलने हाथरस पहुंचे थे. पीड़िता के परिवार की तरफ से ही राहुल गांधी से मिलने की इच्छा जताई गई थी. जिसके बाद आज राहुल गांधी मुलाकात करने पहुंचे थे. राहुल गांधी ने परिवार से मुलाकात कर उनकी परेशानी जारी. इस दौरान राहुल के साथ कई कांग्रेसी नेता मौजूद थे. परिवार ने बताया कि जो वादे उनसे किए गए थे, वो आज तक पूरे नहीं किए गए. हर समय घर पर पुलिस का पहरा रहता है, जिसके कारण वे पिछले 4 सालों से कैद में रह रहे हैं. आधे घंटे से जयादा की बातचीत के बाद राहुल हाथरस से दिल्ली के लिए रवाना हो गए है . राहुल के दौरे को लेकर हाथरस पुलिस अलर्ट थी. जगह-जगह बैरिकेडिंग की गई है. राहुल के हाथरस दौरे पर उत्तरप्रदेश के डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने कहा है कि राहुल गांधी लोगों को भड़काना चाहते हैं.

राहुल गांधी के हाथरस दौरे को देखते हुस पुलिस ने चाक चौबंद किए हुए हैं, जगह-जगह पर बैरिकेडिंग की गई है. पीड़िता के पिता ने राहुल को चिट्ठी लिखी थी. जिसके बाद राहुल वहां पहुंचे हैं. लोकसभा में विपक्ष के नेता और कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के आज हाथरस जाने पर उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने कहा, राहुल गांधी, आपमें निराशा की भावना है, आप हताशा के शिकार हैं. आपको यह भी नहीं पता कि हाथरस मामले की जांच सीबीआई ने कर दी है. मामला कोर्ट में चल रहा है. आज उत्तर प्रदेश इंफ्रास्ट्रक्चर के मामले में, कानून व्यवस्था के मामले में नंबर 1 राज्य बनने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहा है. पूरे देश में उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था की चर्चा होती है. डिप्टी सीएम ने आगे कहा कि आज हम कह सकते हैं. उत्तर प्रदेश में औद्योगिक क्रांति आ रही है, जबकि आप उत्तर प्रदेश को अराजकता की आग में, दंगों की आग में झोंकना चाहते हैं,लोगों को भड़काना चाहते हैं. कृपया ऐसा न करें, मेरा आपसे अनुरोध है कि उत्तर प्रदेश पूरे देश में नंबर 1 राज्य बनने के लिए तैयार हो रहा है. आप पहले मनन करें, अध्ययन करें,विपासना करें और सोचे की क्या करना है. आए दिन आपकी ऊल जलूल हरकतों से जनता तं आ चुकी है.

चार साल पुराना मामला

कांग्रेस नेता राहुल गांधी के हाथरस दौरे के बाद चार साल बाद एक बार फिर यह मुद्दा सुर्खियों में आ गया है. 14 सितंबर 2020 को हाथरस में एक युवती से उसी के गांव के कुछ लोगों ने रेप किया था, जिसकी इलाज के दौरान मौत हो गई थी. इस मामले में एक आरोपी को उम्रकैद की सजा सुनाई गई. कांग्रेस नेता राहुल गांधी और प्रियंका गांधी ने 3 अक्टूबर, 2020 को परिवार से मुलाकात की थी और घोषणा की थी कि वे मृतका को न्याय दिलाने के लिए लड़ेंगे. 30 अक्टूबर की सुबह उसका अंतिम संस्कार कर दिया गया. उसके परिवार ने आरोप लगाया कि स्थानीय पुलिस ने उन्हें रात के अंधेरे में अंतिम संस्कार करने के लिए मजबूर किया था.

 

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