प्रयागराजः उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में जामिया हबीबिया मदरसे से बड़ी जानकारी सामने आ रही है. नकली नोट छापने की खबर मिलने के बाद जब इस मदरसे में छापेमारी की गई तो कई आपत्तिजनक किताबें मिली हैं. राष्ट्रीय स्वयं संघ (आरएसएस) को देश का सबसे बड़ा आतंकवादी संगठन बताने वाली भी एक किताब मिली है, जिसे पुलिस महानिरीक्षक, महाराष्ट्र, एस एम मुशर्रफ ने लिखी है. इस किताब का शीर्षक है, ‘आरएसएस देश का सबसे बड़ा आतंकवादी संगठन है.’इस पुस्तक में आरएसएस को लेकर कई आपत्तिजनक बातें लिखी गई हैं. मूल पुस्तक उर्दू भाषा में लिखी गई है. जबकि इसका हिंदी अनुवाद वाली भी किताब है. यह पुस्तक कार्यवाहक प्रिंसिपल मोहम्मद तफ़सीरुल आरीफीन के कमरे से मिली है. सूत्रों के मुताबिक कार्यवाहक प्रिंसिपल मौलवी मोहम्मद तफ़सीरुल आरीफीन यह पुस्तक पढ़ता था. तफ़सीरुल के कमरे से और भी कई आपत्तिजनक साहित्य मिले हैं. कार्यवाहक प्रिंसिपल के कमरे से कई स्पीड पोस्ट की पर्चियां मिली हैं. पर्चियों के आधार पर पुलिस एड्रेस वेरीफाई कर रही है ताकि यह पता लगाया जा सके कि क्या नकली नोट कहीं और भी भेजे जाते थे. मदरसा जामिया हबीबिया करीब 84 साल पुराना मदरसा है, जो कि बगैर मान्यता के सोसाइटी रजिस्ट्रेशन पर संचालित हो रहा था. मदरसे की पहली मंजिल पर एक कमरे में 100-100 के नकली नोट छापे जा रहे थे. पुलिस ने मदरसे में छापेमारी कर मास्टरमाइंड जहीर खान, कार्यवाहक प्रिंसिपल मौलाना मोहम्मद तफ़्सीरुल आरिफ व अन्य को गिरफ्तार किया था.
बता दें कि इन किताबों में आरएसएस को देश का सबसे बड़ा आतंकी संगठन कहा गया है. अब इसे लेकर बवाल खड़ हो गया है. खुफिया एजेंसियों ने इसे लेकर जांच तेज कर दी है. शक है कि मदरसे में पढ़ने वाले कई राज्यों के बच्चों को आरएसएस को आतंकी संगठन बताकर ब्रेन वॉश किया जा रहा था।किताब के लेखक एसएम मुशर्रफ महाराष्ट्र पुलिस के पूर्व आईजी है. किताब में मुम्बई 26/11 हिन्दू अटैक बताया गया है. पाकिस्तान के डॉन अखबार ने किताब की तारीफ में लेख लिखा था. डॉन ने लिखा कि इंडिया का एक आईजी खुद कह रहा है कि ये हमला पाकिस्तान ने नही किया था. किताब उर्दू में लिखी गयी है. पुलिस ने इसका हिंदी में अनुवाद करवाया है.