*मृतक सुधीर शुक्ला की पुत्री सुवी को प्रतिकर के रूप में 2 लाख 80 रुपये दिया जाएगा
फर्रुखाबाद, समृद्धि न्यूज। डबल मर्डर के मामले में अपर जिला जज ईसी एक्ट न्यायधीश राकेश कुमार सिंह ने राजवीर सिंह, नरेश सिंह पुत्रगण मोहार सिंह निवासी रारपट्टी एटा, श्रीकृष्ण पुत्र छविनाथ निवासी मोहनपुर कलांन शाहजहांपुर को दोषी करार देते आजीवन कारवास व 3 लाख 20 रुपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया।
विगत 20 वर्ष पूर्व थाना कमालगंज के क्षेत्र चौकीदार ने 12 जुलाई 2003 को पुलिस को दी तहरीर में दर्शाया था कि कतरोली पट्टी के निकट रेलवे ट्रैक के पास एक पुरुष अज्ञात शव पड़ा था और कुछ दिन बाद एक महिला का शव भी पड़ा मिला था। पुलिस ने अज्ञात के विरुद्ध मामला दर्ज कर लिया था। थाना कमालगंज के एसआई एचएल वर्मा ने साक्ष्य गवाह के आधार शिनाख्त सुधीर शुक्ला, मुंन्नी देवी कानपुर के रुप में की थी। उस घटना का पुलिस ने राजवीर, नरेश पुत्रगण मोहर सिंह, श्रीकृष्ण, अमर सिंह, पवन गुप्ता के विरुद्ध न्यायालय में आरोप पत्र दाखिल कर दिया था। जिसमें मृतक महिला मुन्नीदेवी निवासी कानपुर का नाम विवेचक ने दिखाया था वह जिंदा निकली और मरने वाली महिला मुंन्नी देवी राजवीर की पहली पत्नी थी। बचाव पक्ष की दलील व शासकीय अधिवक्ता हरनाथ सिंह, अखिलेश कुमार, श्रवण कुमार की कुशल पैरवी के आधार पर अपर जिला जज ईसी एक्ट न्यायाधीश राकेश कुमार सिंह ने श्रीकुष्ण, राजवीर, नरेश को दोषी करार देते आजीवन कारावास से दण्डित किया। श्रीकृष्ण को कुल जुर्माना 1 लाख रुपये में से मृतक की पुत्री को 90 हजार दिया जायेगा। राजवीर के कुल जुर्माना 1लाख 10 में से 95 हजार मृतक की पुत्री को दिया जायेगा। नरेश के कुल जुर्माना 1 लाख 10 हजार में से 95 हजार रुपये मृतक की पुत्री को दिया जायेगा। मुकदमा विचरण के दौरान पवन गुप्ता की मृत्यु हो गयी थी। साक्ष्य के आभाव के कारण अमर सिंह को दोष मुक्त कर दिया गया।